सिंधु स्वाभिमान समाचारपत्र सूरजपुर भारत सरकार की महत्वाकांक्षी योजना धरती आबा जनजातीय ग्राम उत्कर्ष अभियान के अंतर्गत सूरजपुर जिले में चिन्हित जनजातीय गांवों में कलेक्टर एस जयवर्धन के निर्देशन में आज से शिविरों का शुभारंभ किया गया। यह शिविर 30 जून 2025 तक आयोजित किए जाएंगे, जिनका उद्देश्य आदिवासी समुदायों के समग्र, समावेशी एवं टिकाऊ विकास को सुनिश्चित करना है।

इस अभियान के तहत जिले के 6 विकासखण्डों में कुल 284 चिन्हांकित ग्रामों में शिविरों का आयोजन किया जाएगा। आज दिनांक 17 जून को विभिन्न विकासखंडों के चयनित गांवों में शिविर आयोजित किए गए।
उल्लेखनीय है कि आज भैयाथन विकासखण्ड में ग्राम बैजनापुर, सावांरावां, गोविन्दगढ़, खाड़ापारा, घोंसा एवं तरका में शिविर लगाए गए।ओडगी विकासखण्ड में बेगारीडांड, दवेढी, कांतिपुर, सेमरा एवं विशालपुर में शिविर आयोजित हुए।
प्रतापपुर विकासखण्ड के ग्राम भेल कच्छ, रमकोला, बरपटिया, दुलदुली, बोंगा, गोविंदपुर, नरोला, धुम्माडांड एवं धुरिया में शिविरों का आयोजन हुआ।


इसके अलावा प्रेमनगर विकासखण्ड में गौरीपुर, नवापाराकला, खजूरी और कनकपुर में शिविर लगाए गए। रामानुजनगर विकासखण्ड में पटना, आमगांव, कोट, साल्ही, चन्दरपुर, तेलसरा, बिशुनपुर, सागरपुर एवं रामपुर में शिविर आयोजित किए गए।
सूरजपुर विकासखण्ड में देवीपुर, नयनपुर, चंपनगर, चंदरपुर, पतरापारा, नवगई एवं सरस्वतीपुर में शिविरों का आयोजन किया गया।
इस अभियान के माध्यम से केंद्र सरकार के 17 मंत्रालयों की 25 प्रमुख जनकल्याणकारी योजनाओं की जानकारी और लाभ लक्षित ग्रामीणों तक पहुंचाया जा रहा है। शिविरों में आधार कार्ड, राशन कार्ड, जाति एवं निवास प्रमाण पत्र, आयुष्मान भारत कार्ड, पीएम किसान सम्मान निधि, किसान क्रेडिट कार्ड, जनधन योजना, वृद्धावस्था पेंशन, विधवा पेंशन, दिव्यांग पेंशन, नरेगा जॉब कार्ड, पीएम विश्वकर्मा योजना, मुद्रा लोन और मातृ एवं शिशु स्वास्थ्य संबंधी योजनाओं का लाभ उपलब्ध कराया जा रहा है।
धरती आबा अभियान का लक्ष्य बुनियादी सुविधाओं, स्वास्थ्य, शिक्षा और आजीविका के क्षेत्र में आदिवासी समुदायों को संतृप्त करते हुए उन्हें आत्मनिर्भर एवं सशक्त बनाना है।